7 अक्टूबर, 2025 को, दुनिया 7 अक्टूबर, 2023 के उन हमलों की दूसरी बरसी मना रही है जिन्होंने इज़राइल और गाजा के बीच एक विनाशकारी संघर्ष को जन्म दिया। इस अवसर पर, संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने शत्रुता समाप्त करने और शांतिपूर्ण समाधान की दिशा में काम करने का आग्रह किया है। उन्होंने स्थायी युद्धविराम और भविष्य में रक्तपात को रोकने के लिए एक विश्वसनीय राजनीतिक प्रक्रिया के महत्व पर जोर दिया। गुटेरेस ने शांति का समर्थन करने के लिए संयुक्त राष्ट्र की प्रतिबद्धता दोहराई और सभी पीड़ितों को श्रद्धांजलि अर्पित की। उन्होंने एक ऐसे न्यायसंगत और स्थायी शांति की दिशा में काम करने का संकल्प व्यक्त किया जहाँ इज़राइली, फिलिस्तीनी और क्षेत्र के सभी लोग सुरक्षा, गरिमा और आपसी सम्मान के साथ रह सकें। संयुक्त राष्ट्र स्थिति को शांत करने और संवाद को बढ़ावा देने के प्रयासों में लगा हुआ है।
इस बीच, संयुक्त राज्य अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने गाजा के लिए एक शांति प्रस्ताव पेश किया है जिसका उद्देश्य चल रहे संघर्ष को समाप्त करना है। इस प्रस्ताव में गाजा में एक विसैन्यीकृत क्षेत्र की स्थापना और सभी सैन्य व आतंकवादी बुनियादी ढांचे का विनाश शामिल है। यह गाजा के निवासियों के पुनर्निर्माण और आर्थिक विकास को भी बढ़ावा देता है। योजना में सीमा सुरक्षा सुनिश्चित करने और भविष्य के खतरों को रोकने के उपाय भी शामिल हैं। इज़राइल ने वाशिंगटन के प्रस्ताव पर सहमति व्यक्त की। ट्रंप की योजना को अंतरराष्ट्रीय समुदाय से मिली-जुली प्रतिक्रिया मिली है; कुछ नेताओं ने इसका समर्थन किया है, जबकि अन्य ने इसके कार्यान्वयन और अंतरराष्ट्रीय कानूनी निहितार्थों पर चिंता जताई है।
7 अक्टूबर, 2023 के हमलों के बाद से, इज़राइल ने गाजा पर जवाबी कार्रवाई शुरू की है, जिसके परिणामस्वरूप हजारों फिलिस्तीनी मारे गए हैं और गाजा का बड़ा हिस्सा खंडहर में तब्दील हो गया है। अंतर्राष्ट्रीय समुदाय ने इस संघर्ष को समाप्त करने के लिए विभिन्न शांति पहलों का स्वागत किया है। मिस्र, कतर और संयुक्त राज्य अमेरिका मध्यस्थता प्रयासों में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं।
हमास ने ट्रंप की योजना के कुछ हिस्सों को स्वीकार करने की सूचना दी, जिसमें बंधकों की रिहाई और सत्ता सौंपना शामिल था, हालांकि अन्य पहलुओं पर और अधिक परामर्श की आवश्यकता थी। इस योजना ने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर ध्यान आकर्षित किया है, जिसमें फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रॉन और जर्मनी के चांसलर फ्रेडरिक मेर्ज़ ने योजना का स्वागत किया, और तुर्की, यूरोपीय संघ और भारत जैसे देशों ने शांति की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम के रूप में इसकी सराहना की है। हालांकि, कुछ प्रमुख मुद्दे अनसुलझे बने हुए हैं, जैसे कि हमास का निरस्त्रीकरण और गाजा का भविष्य का शासन प्रमुख चिंताएं हैं। संयुक्त राष्ट्र के महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने 7 अक्टूबर के हमलों की दूसरी बरसी पर शत्रुता समाप्त करने और बंधकों की तत्काल रिहाई का आह्वान किया है। उन्होंने ट्रंप की शांति पहल को संघर्ष समाप्त करने का एक अवसर बताया है जिसे भुनाया जाना चाहिए। यह स्थिति जटिल और गतिशील बनी हुई है, और उम्मीद है कि ट्रंप जैसी पहलें शांतिपूर्ण और स्थायी समाधान में योगदान कर सकती हैं।