वर्ष 2004 में खोजा गया क्षुद्रग्रह 99942 एपोफिस, जो कभी पृथ्वी के लिए संभावित प्रभाव के जोखिम के कारण चिंता का विषय था, अब वैज्ञानिकों के लिए एक अभूतपूर्व अध्ययन का अवसर प्रस्तुत करता है। नवीनतम अवलोकनों के अनुसार, अगले सौ वर्षों तक इसके पृथ्वी से टकराने का कोई खतरा नहीं है। 13 अप्रैल, 2029 को, एपोफिस पृथ्वी की सतह से लगभग 32,000 किलोमीटर की दूरी से गुजरेगा। यह निकटतम दृष्टिकोण यूरोप, अफ्रीका और एशिया के कुछ हिस्सों से नग्न आंखों से दिखाई देगा।
इस घटना के दौरान, पृथ्वी का गुरुत्वाकर्षण एपोफिस की कक्षा को महत्वपूर्ण रूप से बदल देगा, जिससे यह एटेन श्रेणी से अपोलो श्रेणी में पुनः वर्गीकृत हो जाएगा। यह परिवर्तन वैज्ञानिकों को इस क्षुद्रग्रह का करीब से अध्ययन करने का एक अनूठा अवसर प्रदान करेगा। एपोफिस जैसे क्षुद्रग्रह हमारे सौर मंडल के प्रारंभिक निर्माण के अवशेष हैं, जो लगभग 4.6 अरब साल पहले बने थे। एपोफिस का व्यास लगभग 340 मीटर है।
प्रारंभिक गणनाओं ने 2029, 2036 या 2068 में पृथ्वी से टकराने की संभावना जताई थी, लेकिन बाद के अवलोकनों ने इन जोखिमों को समाप्त कर दिया है। 2029 की यह निकटवर्ती यात्रा वैज्ञानिकों को क्षुद्रग्रह के भौतिक गुणों, जैसे कि इसकी संरचना, घूर्णन और सतह की विशेषताओं को समझने में मदद करेगी।
नासा के OSIRIS-REx अंतरिक्ष यान को, जिसे अब OSIRIS-APEX नाम दिया गया है, एपोफिस का अध्ययन करने के लिए पुनः निर्देशित किया गया है। इसी तरह, यूरोपीय अंतरिक्ष एजेंसी (ESA) भी RAMSES मिशन के माध्यम से इस क्षुद्रग्रह का अध्ययन करेगी। ये मिशन क्षुद्रग्रह के व्यवहार और पृथ्वी के साथ इसकी अंतःक्रिया को समझने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे। यह घटना न केवल वैज्ञानिक ज्ञान को बढ़ाएगी, बल्कि भविष्य में संभावित क्षुद्रग्रह खतरों से निपटने के लिए हमारी तैयारी को भी बेहतर बनाएगी।