वाशिंगटन डी.सी. में ऑपरेशन सेफगार्ड के तहत, उपराष्ट्रपति जेडी वेंस को नेशनल गार्ड सैनिकों को बर्गर बांटते समय "फ्री डी.सी.!" जैसे नारों का सामना करना पड़ा। यह घटना 20 अगस्त, 2025 को यूनियन स्टेशन पर हुई, जहाँ रक्षा सचिव पीट हेगसेथ और व्हाइट हाउस के उप मुख्य स्टाफ स्टीफन मिलर भी मौजूद थे। वेंस ने सैनिकों को धन्यवाद देते हुए कहा, "आप लोग पूरे दिन कड़ी मेहनत करते हैं और हम आपको हैमबर्गर देते हैं - यह उचित सौदा नहीं है, लेकिन हम आपके हर काम के लिए आभारी हैं।" उन्होंने यह भी दावा किया कि क्षेत्र में कानून और व्यवस्था बहाल कर दी गई है।
राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प की 21 अगस्त, 2025 की घोषणा के बाद, जिसमें उन्होंने पुलिस और नेशनल गार्ड के साथ शहर की सड़कों पर गश्त करने का इरादा जताया था, वाशिंगटन डी.सी. में नेशनल गार्ड सैनिकों की तैनाती और संघीय कानून प्रवर्तन की उपस्थिति बढ़ गई है। प्रशासन द्वारा इस ऑपरेशन को सार्वजनिक व्यवस्था बहाल करने और अपराध से लड़ने के लिए एक आवश्यक कदम के रूप में प्रस्तुत किया गया है, लेकिन इसे महत्वपूर्ण आलोचना और विरोध का सामना करना पड़ा है।
आलोचकों का तर्क है कि शहर का सैन्यीकरण अपराध के मूल कारणों, जैसे गरीबी और किफायती आवास की कमी, को संबोधित नहीं करता है, और यह सार्वजनिक विश्वास को कम करता है। वाशिंगटन पोस्ट-शर स्कूल के एक सर्वेक्षण से पता चला है कि 79% डी.सी. निवासियों ने ट्रम्प की कार्रवाइयों का विरोध किया, जबकि केवल 17% ने समर्थन किया। 14 जून, 2025 को हुए "नो किंग्स" विरोध प्रदर्शनों ने भी राष्ट्रपति ट्रम्प की कथित सत्तावादी कार्रवाइयों के खिलाफ व्यापक विरोध को उजागर किया। 50501 मूवमेंट द्वारा आयोजित इन प्रदर्शनों में अमेरिका और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर लाखों लोग शामिल हुए, जिन्होंने इसे "ट्रम्प प्रशासन की सत्तावादी कार्रवाइयां" बताया। मैक्सिकन सांसदों जैसे अंतरराष्ट्रीय निकायों ने भी राष्ट्रीय संप्रभुता और द्विपक्षीय संबंधों के लिए संभावित जोखिमों के बारे में चिंता व्यक्त की है।
इन तनावों के बावजूद, संघीय सरकार का रुख कायम है कि यह हस्तक्षेप व्यवस्था बहाल करने और राजधानी में अपराध से लड़ने के लिए महत्वपूर्ण है। यह स्थिति चल रही बहस और विश्लेषण का एक प्रमुख केंद्र बनी हुई है।