अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने जुलाई 2025 में वॉल स्ट्रीट जर्नल और इसके मालिक रॉबर्ट मर्डोक के खिलाफ मानहानि का मुकदमा दायर किया, जिसमें कम से कम 10 बिलियन डॉलर के नुकसान की मांग की गई। यह मुकदमा एक लेख से संबंधित था जिसमें कथित तौर पर ट्रंप द्वारा 2003 में जेफरी एपस्टीन को भेजे गए एक पत्र का उल्लेख था। ट्रंप ने इस पत्र को "झूठा, दुर्भावनापूर्ण और मानहानिकारक" बताया और इसके लेखक होने से इनकार किया।
मुकदमे में यह आरोप लगाया गया कि वॉल स्ट्रीट जर्नल ने जानबूझकर गलत जानकारी प्रकाशित की, जिससे ट्रंप की प्रतिष्ठा को गंभीर नुकसान हुआ। इस मामले में ट्रंप को यह साबित करना होगा कि मीडिया ने "वास्तविक दुर्भावना" के साथ काम किया, अर्थात उन्होंने जानबूझकर गलत जानकारी प्रकाशित की या सच के प्रति लापरवाह थे।
इस मुकदमे के परिणाम मीडिया की जिम्मेदारी और सार्वजनिक हस्तियों के अधिकारों पर महत्वपूर्ण प्रभाव डाल सकते हैं। हालांकि, मानहानि के मामलों में सफलता प्राप्त करना चुनौतीपूर्ण होता है, विशेषकर जब यह साबित करना होता है कि मीडिया ने जानबूझकर गलत जानकारी प्रकाशित की।
यह मामला मीडिया और सार्वजनिक हस्तियों के बीच संबंधों और प्रेस की स्वतंत्रता के अधिकारों पर चल रही बहस को भी उजागर करता है।