कई देश वैश्विक स्तर पर आर्थिक मंदी का सामना कर रहे हैं। इस स्थिति का भारत सहित वैश्विक बाजारों पर भी असर पड़ रहा है। भारत वर्तमान में दुनिया की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था है।
आईएमएफ के अनुसार, भारत चार ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्थाओं में से एक है। नीति आयोग के सीईओ बी. वी. आर. सुब्रह्मण्यम ने यह घोषणा की। उन्होंने वैश्विक संदर्भ में भारत की अनुकूल स्थिति पर प्रकाश डाला।
सुब्रह्मण्यम को भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए महत्वपूर्ण विकास की उम्मीद है। उन्होंने कहा कि भारत कई अन्य देशों से बेहतर प्रदर्शन कर रहा है। इनमें चीन और जर्मनी जैसी केवल विपणन-संचालित अर्थव्यवस्थाएं शामिल हैं। उन्हें उम्मीद है कि भारत अगले तीन वर्षों में दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन जाएगा।
देश में विभिन्न आर्थिक सुधार चल रहे हैं। मेक इन इंडिया पहल भारत को अपनी आर्थिक स्थिति सुधारने में मदद कर रही हैं। ये पहल वर्तमान अंतरराष्ट्रीय आर्थिक वातावरण का भी समर्थन कर रही हैं।
इस बीच, Apple भारत में iPhone उत्पादन बढ़ाने की योजना बना रहा है। यह निर्णय बाजार के उस दिशा के अनुरूप है जिसे राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प आगे बढ़ा रहे हैं। Apple का लक्ष्य चीन के बाहर अधिक उत्पादों का निर्माण करना है।
अगर iPhone का निर्माण चीन में किया जाता है तो Apple को अमेरिका में बेचे जाने वाले iPhone पर 25% टैरिफ का सामना करना पड़ सकता है। बी. वी. आर. सुब्रह्मण्यम ने इस मुद्दे को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि टैरिफ अप्रत्याशित हैं और भारत एक स्थिर विकल्प प्रदान करता है।
सुब्रह्मण्यम ने उल्लेख किया कि सरकारी संपत्ति की बिक्री का दूसरा चरण अगस्त में शुरू होगा। इस पहल में कुछ सरकारी संपत्तियों को निजी क्षेत्र में स्थानांतरित करना शामिल होगा। राजीव अडानी के इस प्रक्रिया में शामिल होने की संभावना है।